सूरदास मदनमोहन के लिखे हुए स्फुट पद ही आज उपलब्ध होते हैं ,जिनका संकलन सुह्रद वाणी के रूप में किया गया है। (प्रकाशन :बाबा कृष्णदास :राजस्थान प्रेस जयपुर :वि ० सं ० २००० )